
UPI सिस्टम में हालिया बदलाव: एक विस्तृत सारांश
भारत में यूनिफाइड पेमेंट्स इंटरफेस (UPI) डिजिटल भुगतान का सबसे लोकप्रिय माध्यम बन गया है। यह तेज, सुरक्षित और उपयोग में आसान है। हाल ही में, UPI लेनदेन पर संभावित शुल्क को लेकर चर्चा तेज हो गई है, क्योंकि वर्ष 2025 में UPI सिस्टम में कई महत्वपूर्ण बदलाव किए गए हैं। इन बदलावों का ग्राहकों और व्यापारियों दोनों पर प्रभाव पड़ने की संभावना है।
UPI सिस्टम के प्रमुख बदलावों का अवलोकन:
- लेनदेन सीमा में वृद्धि: अस्पतालों और शैक्षणिक संस्थानों के लिए ऑनलाइन भुगतान की अधिकतम सीमा ₹1 लाख से बढ़ाकर ₹5 लाख कर दी गई है। यह उच्च-मूल्य वाले लेनदेन को सुविधाजनक बनाने के लिए किया गया है।
- इंटरचेंज फीस का परिचय: ₹2,000 से ऊपर के उन लेनदेन पर 0.5% से 1.1% तक की इंटरचेंज फीस लागू होगी जो Prepaid Payment Instruments (PPI) जैसे मोबाइल वॉलेट (जैसे PhonePe या Paytm वॉलेट) के माध्यम से किए जाते हैं।
- UPI पर क्रेडिट लाइन: बैंकों की क्रेडिट लाइन को अब सीधे UPI से जोड़ा जा सकता है। इससे ग्राहक बिना किसी अतिरिक्त प्रक्रिया के क्रेडिट राशि का उपयोग कर सकेंगे।
- निष्क्रिय UPI IDs को हटाना: सुरक्षा और सिस्टम की दक्षता बढ़ाने के लिए, राष्ट्रीय भुगतान निगम (NPCI) ने घोषणा की है कि एक साल तक निष्क्रिय रहने वाली UPI IDs को हटा दिया जाएगा।
- अंतर्राष्ट्रीय UPI भुगतान: UPI भुगतान अब कुछ चुनिंदा देशों में भी स्वीकार किए जाएंगे, जिससे विदेश यात्रा करने वाले भारतीयों को सुविधा होगी।
- चार्जबैक ऑटो-प्रोसेसिंग: विवाद समाधान प्रक्रिया को तेज और सरल बनाने के लिए चार्जबैक की ऑटो-प्रोसेसिंग लागू की गई है।
क्या हर UPI लेनदेन पर लगेगा शुल्क?
नहीं, हर UPI लेनदेन पर शुल्क नहीं लगेगा। इंटरचेंज फीस केवल उन लेनदेन पर लागू होती है जो ₹2,000 से अधिक होते हैं और Prepaid Payment Instruments (PPI) जैसे मोबाइल वॉलेट के जरिए किए जाते हैं। व्यक्तिगत लेनदेन (P2P, यानी एक व्यक्ति से दूसरे व्यक्ति को) और सीधे बैंक-लिंक्ड UPI लेनदेन पर कोई अतिरिक्त शुल्क नहीं लगेगा।
- कौन चुकाएगा इंटरचेंज फीस: जब ग्राहक PhonePe या Paytm जैसे PPI वॉलेट का उपयोग करके व्यापारी को भुगतान करते हैं, तो व्यापारी को 0.5% से 1.1% तक की इंटरचेंज फीस देनी होगी।
- ग्राहकों पर प्रभाव: ग्राहकों को व्यक्तिगत लेनदेन (P2P) या अपने बैंक खाते से सीधे किए गए UPI भुगतानों पर कोई शुल्क नहीं देना होगा। हालांकि, यदि व्यापारी इंटरचेंज फीस की लागत ग्राहकों पर डालते हैं, तो कुछ डिजिटल भुगतान महंगे हो सकते हैं।
व्यापारियों और ग्राहकों पर प्रभाव:
- व्यापारियों पर प्रभाव:
- छोटे व्यापारी: ₹2,000 तक के लेनदेन पर उन्हें कोई चार्ज नहीं देना होगा।
- बड़े व्यापारी: ₹2,000 से ऊपर के लेनदेन पर इंटरचेंज फीस लागू होगी।
- ग्राहकों पर प्रभाव:
- अधिकांश व्यक्तिगत और बैंक-लिंक्ड UPI भुगतान ग्राहकों के लिए मुफ्त रहेंगे।
- यदि व्यापारी PPI लेनदेन पर लगने वाली फीस ग्राहकों से वसूलते हैं, तो कुछ लेनदेन महंगे हो सकते हैं।
सुरक्षा उपाय और अन्य बदलाव:
निष्क्रिय UPI IDs को हटाना और ऑटो-चार्जबैक प्रोसेसिंग जैसे उपाय UPI सिस्टम को अधिक सुरक्षित और कुशल बनाने के लिए डिज़ाइन किए गए हैं, जिससे धोखाधड़ी कम होगी और विवाद समाधान तेजी से होगा।
निष्कर्ष:
UPI सिस्टम में किए गए ये बदलाव डिजिटल भुगतान को और अधिक मजबूत और सुविधाजनक बनाने के लिए किए गए हैं। हालांकि, इंटरचेंज फीस जैसे नियम व्यापारियों और कुछ विशिष्ट प्रकार के लेनदेन पर प्रभाव डाल सकते हैं। यह महत्वपूर्ण है कि अधिकांश सामान्य UPI उपयोग (जैसे व्यक्तियों के बीच भुगतान या सीधे बैंक खाते से भुगतान) ग्राहकों के लिए पूरी तरह से मुफ्त रहेंगे।
डिस्क्लेमर: यह सारांश केवल जानकारी प्रदान करने के उद्देश्य से लिखा गया है। NPCI द्वारा जारी किए गए नियमों के अनुसार, व्यक्तिगत लेनदेन (P2P) मुफ्त रहेंगे। यदि आपसे हर लेनदेन पर चार्ज मांगा जाता है, तो यह गलत जानकारी हो सकती है।